मेष लगà¥à¤¨ में केतॠअषà¥à¤Ÿà¤® सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ में मेष लगà¥à¤¨ के अषà¥à¤Ÿà¤® सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ में केतॠवृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि का होगा। वृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि जलसंजà¥à¤žà¤• सà¥à¤¥à¤¿à¤° सà¥à¤µà¤à¤¾à¤µ की राशि है। जातक धनवान होगा पर जातक का à¤à¤¾à¤ˆ निःसनà¥à¤¤à¤¾à¤¨ होगा। जातक उस à¤à¤¾à¤ˆ को सनà¥à¤¤à¤¾à¤¨ का दान देगा। जातक की सà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤° सà¥à¤¶à¥€à¤² à¤à¤µà¤‚ शà¥à¤à¤µà¤¿à¤šà¤¾à¤°à¥‹à¤‚ वाली होगी। परनà¥à¤¤à¥ 34 वरà¥à¤· बाद जातक दूसरा विवाह कर सकता है। अनà¥à¤à¤µ-'à¤à¥‹à¤œ संहिता' के अनà¥à¤¸à¤¾à¤° अषà¥à¤Ÿà¤®à¤à¤¾à¤µà¤¸à¥à¤¥ वृशà¥à¤šà¤¿à¤• का केतॠवà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ को लमà¥à¤¬à¥€ आयॠकी पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤à¤¿ हेतॠलालायित रखेगा। जातक धन पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤à¤¿ हेतॠà¤à¥€ जीवन परà¥à¤¯à¤¨à¥à¤¤ चेषà¥à¤Ÿà¤¾ करता रहेगा। निशानी-मौत के यम को पहले देख लेने वाला कà¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾à¥¤ जातक के गà¥à¤ªà¥à¤¤à¤¾à¤‚ग या गà¥à¤¦à¤¾ पर शहद जैसे रंग का तिल या दाग होगा। दशा-केतॠकी दशा शà¥à¤à¤«à¤² देगी। केतॠवृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि का होने से 'कà¥à¤œà¤µà¤¤à¥' फल देगा। अतः इस कà¥à¤‚डली में मंगल की सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ देखने बाद ही केतॠकी दशा के सही फल का निरूपण होगा। केतॠका अनà¥à¤¯ गà¥à¤°à¤¹à¥‹à¤‚ से संबंध 1. केतॠसूरà¥à¤¯ केतॠके साथ सूरà¥à¤¯ 'विदà¥à¤¯à¤¾ में बाधा' à¤à¤µà¤‚ पà¥à¤¤à¥à¤° संतान में बाधा उतà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ करेगा। 2. केतà¥+चनà¥à¤¦à¥à¤°-केतॠके साथ चनà¥à¤¦à¥à¤°à¤®à¤¾ माता के सà¥à¤– में बाधक है। जातक के जीवन में शलà¥à¤¯ चिकितà¥à¤¸à¤¾ जरूर होगी। 3. केतà¥+मंगल-केतॠके साथ मंगल सà¥à¤µà¤—ृही होने से 'विपरीत राजयोग' बनेगा। जातक के पास उतà¥à¤¤à¤® वाहन, उतà¥à¤¤à¤® à¤à¤µà¤¨ होगा। जातक समाज का पà¥à¤°à¤à¤¾à¤µà¤¶à¤¾à¤²à¥€ वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ होगा। 4. केतॠ+ बà¥à¤§-केतॠके साथ बà¥à¤§ 'विपरीत राजयोग' के कारण सà¤à¥€ पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° के à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤• सà¥à¤– देगा। परनà¥à¤¤à¥ पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤·à¥à¤ ा à¤à¤‚ग होने का à¤à¤¯ रहेगा। 5. केतॠ+ बृहसà¥à¤ªà¤¤à¤¿-केतॠके साथ बृहसà¥à¤ªà¤¤à¤¿ 'विपरीत राजयोग' के कारण जातक को à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤• सà¥à¤–ों से परिपूरà¥à¤£ करेगा। 6. केतॠ+ शà¥à¤•à¥à¤° - केतॠके साथ शà¥à¤•à¥à¤° विलमà¥à¤¬ विवाह योग बनाता है। जीवनसाथी को गà¥à¤ªà¥à¤¤ रोग रहेगा। 7. केतॠ+ शनि-केतॠके साथ शनि 'वà¥à¤¯à¤¾à¤ªà¤¾à¤° à¤à¤‚ग योग' बनाता है। जातक को वैवाहिक सà¥à¤– देरी से मिलेगा। उपाय- 1. केतॠकवच का नितà¥à¤¯ पाठकरें। 2. कान छिदवा कर सोने का आà¤à¥‚षण पहनें। 3. काला कà¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾ पाले या उसकी सेवा करें। 4. दहेज में पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ चारपाई पर शयन करने का नियम बन पावे तो केतॠअनà¥à¤•à¥‚ल होगा। 5. दोरंगा कमà¥à¤¬à¤² धरà¥à¤®à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨ में à¤à¥‡à¤‚ट करे तो शà¥à¤ रहेगा। और जानने के लिà¤..........
मेष लगà¥à¤¨ में केतॠअषà¥à¤Ÿà¤® सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ में
मेष लगà¥à¤¨ के अषà¥à¤Ÿà¤® सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ में केतॠवृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि का होगा। वृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि जलसंजà¥à¤žà¤• सà¥à¤¥à¤¿à¤° सà¥à¤µà¤à¤¾à¤µ की राशि है। जातक धनवान होगा पर जातक का à¤à¤¾à¤ˆ निःसनà¥à¤¤à¤¾à¤¨ होगा। जातक उस à¤à¤¾à¤ˆ को सनà¥à¤¤à¤¾à¤¨ का दान देगा। जातक की सà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤° सà¥à¤¶à¥€à¤² à¤à¤µà¤‚ शà¥à¤à¤µà¤¿à¤šà¤¾à¤°à¥‹à¤‚ वाली होगी। परनà¥à¤¤à¥ 34 वरà¥à¤· बाद जातक दूसरा विवाह कर सकता है।
अनà¥à¤à¤µ-'à¤à¥‹à¤œ संहिता' के अनà¥à¤¸à¤¾à¤° अषà¥à¤Ÿà¤®à¤à¤¾à¤µà¤¸à¥à¤¥ वृशà¥à¤šà¤¿à¤• का केतॠवà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ को लमà¥à¤¬à¥€ आयॠकी पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤à¤¿ हेतॠलालायित रखेगा। जातक धन पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤à¤¿ हेतॠà¤à¥€ जीवन परà¥à¤¯à¤¨à¥à¤¤ चेषà¥à¤Ÿà¤¾ करता रहेगा।
निशानी-मौत के यम को पहले देख लेने वाला कà¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾à¥¤ जातक के गà¥à¤ªà¥à¤¤à¤¾à¤‚ग या गà¥à¤¦à¤¾ पर शहद जैसे रंग का तिल या दाग होगा। दशा-केतॠकी दशा शà¥à¤à¤«à¤² देगी। केतॠवृशà¥à¤šà¤¿à¤• राशि का होने से 'कà¥à¤œà¤µà¤¤à¥' फल देगा। अतः इस कà¥à¤‚डली में मंगल की सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ देखने बाद ही केतॠकी दशा के सही फल का निरूपण होगा।
केतॠका अनà¥à¤¯ गà¥à¤°à¤¹à¥‹à¤‚ से संबंध
1. केतॠसूरà¥à¤¯ केतॠके साथ सूरà¥à¤¯ 'विदà¥à¤¯à¤¾ में बाधा' à¤à¤µà¤‚ पà¥à¤¤à¥à¤° संतान में बाधा उतà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ करेगा।
2. केतà¥+चनà¥à¤¦à¥à¤°-केतॠके साथ चनà¥à¤¦à¥à¤°à¤®à¤¾ माता के सà¥à¤– में बाधक है। जातक के जीवन में शलà¥à¤¯ चिकितà¥à¤¸à¤¾ जरूर होगी।
3. केतà¥+मंगल-केतॠके साथ मंगल सà¥à¤µà¤—ृही होने से 'विपरीत राजयोग' बनेगा। जातक के पास उतà¥à¤¤à¤® वाहन, उतà¥à¤¤à¤® à¤à¤µà¤¨ होगा। जातक समाज का पà¥à¤°à¤à¤¾à¤µà¤¶à¤¾à¤²à¥€ वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ होगा।
4. केतॠ+ बà¥à¤§-केतॠके साथ बà¥à¤§ 'विपरीत राजयोग' के कारण सà¤à¥€ पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° के à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤• सà¥à¤– देगा। परनà¥à¤¤à¥ पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤·à¥à¤ ा à¤à¤‚ग होने का à¤à¤¯ रहेगा।
5. केतॠ+ बृहसà¥à¤ªà¤¤à¤¿-केतॠके साथ बृहसà¥à¤ªà¤¤à¤¿ 'विपरीत राजयोग' के कारण जातक को à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤• सà¥à¤–ों से परिपूरà¥à¤£ करेगा।
6. केतॠ+ शà¥à¤•à¥à¤° - केतॠके साथ शà¥à¤•à¥à¤° विलमà¥à¤¬ विवाह योग बनाता है। जीवनसाथी को गà¥à¤ªà¥à¤¤ रोग रहेगा।
7. केतॠ+ शनि-केतॠके साथ शनि 'वà¥à¤¯à¤¾à¤ªà¤¾à¤° à¤à¤‚ग योग' बनाता है। जातक को वैवाहिक सà¥à¤– देरी से मिलेगा।
उपाय- 1. केतॠकवच का नितà¥à¤¯ पाठकरें। 2. कान छिदवा कर सोने का आà¤à¥‚षण पहनें।
3. काला कà¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾ पाले या उसकी सेवा करें।
4. दहेज में पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ चारपाई पर शयन करने का नियम बन पावे तो केतॠअनà¥à¤•à¥‚ल होगा।
5. दोरंगा कमà¥à¤¬à¤² धरà¥à¤®à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨ में à¤à¥‡à¤‚ट करे तो शà¥à¤ रहेगा।
और जानने के लिà¤..........